Friday, May 29, 2009

रेलवे की तीव्रगति पार्सल सेवा पर ममता का ‘ब्रेक’

रेलमंत्री ममता बनर्जी ने कामकाज के पहले दिन ही अपने तीखे तेवरों से रेल अफसरों को वाकिफ करा दिया है। अपने कार्यक्षेत्र कोलकाता की खातिर उन्होंने २ करोड़ रुपए प्रतिदिन के शुरूआती लक्ष्य के साथ दिल्ली-चेन्नई और दिल्ली-मुंबई के बीच शुरू की जाने वाली पार्सल एक्सप्रेस योजना पर फिलहाल ‘ब्रेक’ लगा दिया है।
उन्होंने कोलकाता को भी इसमें जोड़ने का निर्देश दिया गया है। बदलाव के बाद ही अब यह ड्रीम-प्रोजेक्ट शुरू हो पाएगा। रेलवे ने दिल्ली-चेन्नई रूट पर सप्ताह में २ दिन और दिल्ली-मुंबई रूट पर सप्ताह में ४ दिन तीव्रगति पार्सल सेवा की योजना बनाई है। इसके तहत दोनों महानगर में २४ घंटे में पार्सल पहुंचाने का दावा किया जा रहा है।
सूत्रों के मुताबिक बड़ा व्यापारिक केंद्र होने के कारण अब कोलकाता रूट पर भी शुरूआत में कम से कम एक रैक रेलगाड़ी चलाने का प्रस्ताव किया गया है।
क्या है कारण: पश्चिम बंगाल में डेढ़ साल बाद विधानसभा चुनाव होने हैं। माना जा रहा है कि यह बदलाव इसी ‘सियासी गणित’ का ध्यान में रखकर किया जा रहा है। तृणमूल को लाभ पहुंचाने के लिए ममता की कोशिश ज्यादातर रेल परियोजनाओं को ‘वाया-कोलकाता’ लागू कराने की है।
पार्सल एक्सप्रेस योजना: १क् हजार करोड़ रुपए के पार्सल के बड़े बाजार को लपकने की जुगत में रेलवे ने तीव्रगति-सेवा (टीजीएस) योजना को आकार दिया है। योजना के अंतर्गत माल भेजने वालों को मौजूदा मालभाड़े से केवल ५ फीसदी ज्यादा रकम देनी होगी। योजना के प्रति ग्राहकों को आकर्षित करने के लिए ‘समय पर माल नहीं तो पैसा वापस’ का फामरूला बनाया गया है।

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